मुजफ्फरनगर। खुब्बापुर गांव के पीड़ित छात्र की काउंसिलिंग के लिए मुंबई से टाटा इंस्टीट्यूट सोशल साइंस (टीआईएसएस) की चार सदस्यीय विशेषज्ञों की टीम पहुंची। लखनऊ से पहुंचे बेसिक शिक्षा विभाग के डिप्टी डायरेक्टर और परियोजना विशेषज्ञ ने टीआईएसएस टीम के साथ खुब्बापुर पहुंचकर छात्र की काउंसिलिंग की। काफी देर तक टीम पीड़ित के साथ रही और उससे बातचीत की।
खुब्बापुर थप्पड़ कांड में सुप्रीम कोर्ट ने छात्र की काउंसलिंग के लिए मुंबई के संस्थान टाटा इंस्टीट्यूट सोशल साइंस को जिम्मेदारी दी थी। कोर्ट के आदेश पर रविवार को मुंबई से टीआईएसएस से विशेषज्ञ रथिस ऐश्वर्या, अर्पिता, अपर्णा जोशी, अब्दुल शाबान के अलावा लखनऊ से डिप्टी डायरेक्टर राजेंद्र सिंह और परियोजना विशेषज्ञ गुरविंदर सिंह ने खुब्बापुर पहुंचकर छात्र और उसके पिता इरशाद से प्रकरण की जानकारी ली। उनके साथ जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी शुभम शुक्ला और खंड शिक्षा अधिकारी शाहपुर संजय भारती भी शामिल रहे।
पीड़ित का पिता बोला, चल रहा स्कूल
टीम के सवालों पर छात्र के पिता इरशाद ने कहा कि प्रकरण को चार माह हो गए है, लेकिन अभी तक आरोपी शिक्षिका के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हुई है। आरोप लगाया कि सुप्रीम कोर्ट में अधिकारियों ने नेहा पब्लिक स्कूल को बंद दिखाया हुआ है, लेकिन लगातार स्कूल भी चल रहा है और उसमें आरोपी शिक्षिका भी पढ़ा रही है। जिसकी शिकायत उन्होंने जिले के अधिकारियों को दी है।
टीम ने पीड़ित को पढ़ाई के लिए किया प्रेरित
मुंबई की टीआईएसएस की टीम ने खुब्बापुर पहुंचकर छात्र से उसकी पढ़ाई के बारे में पूछा। इसके बाद उन्होंने किताब पढ़वाई और लिखवाकर भी देखा। टीम विशेषज्ञों ने छात्र से उसकी पढ़ाई और स्कूल के बारे में पूछा। उन्होंने छात्र से स्कूल में मन लगने को लेकर सवाल किया। इसपर छात्र ने स्कूल को अच्छा बताते हुए मन लगने की बात कही।
शिक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ की बैठक
रविवार सुबह पहुंची मुंबई से टीआईएसएस की चार सदस्यीय विशेषज्ञों की टीम ने लखनऊ से डिप्टी डायरेक्टर राजेंद्र सिंह और परियोजना विशेषज्ञ गुरविंदर सिंह ने खुब्बापुर जाने से पहले मेरठ रोड स्थित एक रेस्टोरेंट में शिक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक की। जिसमें बीएसए शुभम शुक्ला के साथ-साथ सभी ब्लॉक के खंड शिक्षा अधिकारी मौजूद रहे। अधिकारियों ने खंड शिक्षा अधिकारियों से खुब्बापुर प्रकरण की जानकारी लेने के साथ-साथ विद्यालयों के पठन-पाठन के बारे में जानकारी ली।
प्रधान ने कहा, गांव में माहौल अच्छा
मुंबई की टीआईएसएस की चार सदस्यीय विशेषज्ञों रथिस ऐश्वर्या, अर्पिता, अपर्णा जोशी, अब्दुल शाबान खुब्बापुर के ग्राम प्रधान मनोज कुमार से मुलाकात की। ग्रामप्रधान से गांव के माहौल के बारे में पूछा। साथ ही सरकारी स्कूलों और मिड-डे-मील की जानकारी ली। ग्राम प्रधान ने बताया कि थप्पड़ कांड में शिक्षिका तृप्ता त्यागी की गलती थी। इसके लिए उसने माफी भी मांगी थी। गांव में किसी भी तरह का सांप्रदायिक माहौल नहीं है। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी शुभम शुक्ला ने बताया कि मुंबई की टीम और लखनऊ के अधिकारियों ने खुब्बापुर में छात्र की काउंसलिंग की। इसके बाद वह ग्राम प्रधान मनोज कुमार के यहां पहुंचकर उनसे जानकारी ली। उन्होंने बताया कि सोमवार को मुंबई की टीम के दो सदस्य वापस लौट जाएंगे। इसके अलावा एक अधिकारी पदमा सारंगपानी सोमवार दोपहर तक पहुंचेगी। उनके आने पर ही आगे की गतिविधियां होगी। उन्होंने बताया कि दो दिन तक टीम शहर में ही रहेगी।
यह था पूरा मामला
खुब्बापुर गांव के स्कूल में शिक्षिका तृप्ता त्यागी ने पांच का पहाड़ा नहीं सुनाने पर अल्पसंख्यक समुदाय के छात्र की सहपाठियों से पिटाई करा दी थी। इसी दौरान जातीय टिप्पणी का भी आरोप है। प्रकरण के दौरान पीड़ित छात्र के चचेरे भाई ने वीडियो बना लिया। वीडियो के वायरल होते ही प्रतिक्रियाएं आने लगीं और शिक्षिका की गिरफ्तार करने की मांग उठने लगी। आरोपी शिक्षिका पर अब एफआईआर दर्ज हो गई है। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के पोते तुषार गांधी ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की थी, जिसका सुनवाई 11 दिसंबर को होगी। उधर, पीड़ित छात्र का प्रवेश भी हो गया था और रविवार को सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर छात्र की काउंसलिंग की गई।