नई दिल्ली: शीर्ष भारतीय बॉक्सर निकहत जरीन ने रविवार को दूसरा विश्व चैंपियनशिप खिताब जीता जबकि लवलीना बोरगोहेन ने कांस्य का सिलसिला तोड़ते हुए पहली बार पीला तमगा अपने नाम किया। निकहत ने 50 किग्रा वर्ग के फाइनल में वियतनाम की एनगुएन थि ताम पर 5-0 से जीत दर्ज कर लाइट फ्लाईवेट खिताब अपने नाम किया। वहीं दो बार की कांस्य पदक विजेता लवलीना ने आस्ट्रेलिया की कैटलिन पारकर को 5-2 से मात दी । इस जीत से निकहत महान बॉक्सर एमसी मैरीकॉम (छह बार की विश्व चैंपियन) के बाद दो बार यह प्रतिष्ठित खिताब जीतने वाली दूसरी भारतीय बन गयीं। इससे पहले शनिवार को नीतू गंघास (48 किग्रा) और स्वीटी बूरा (81 किग्रा) ने गोल्ड मेडल जीते थे।
चीन से आगे रहा भारत
भारत ने इस महिला वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में चीन को पीछे छोड़ दिया। भारतीय बॉक्सर्स ने इस इवेंट के 12 में से चार गोल्ड पर कब्जा जमाया। भारत की चार की बॉक्सर सेमीफाइनल में पहुंची थीं। सभी ने गोल्ड जीतकर देश को मेडल डैली में पहले नंबर पर पहुंचा दिया। वहीं चीन दूसरे नंबर पर रहा। उसके मेडल भारत से ज्यादा हैं लेकिन गोल्ड कम होने की वजह से दूसरे नंबर से संतोष करना पड़ा। तीन के तीन गोल्ड के साथ एक सिल्वर और तीन ब्रॉन्ज हैं।
ओवरऑल तीसरे नंबर पर भारत
महिला वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप की शुरुआत 2001 में हुई थी। अभी तक 13 बार इस इवेंट का आयोजन किया जा चुका है। 14 गोल्ड, 8 सिल्वर और 21 ब्रॉन्ज के साथ भारत इसका तीसरा सबसे सफल देश है। रूस के नाम सबसे ज्यादा 25 गोल्ड समेत 63 मेडल हैं। चीन ने 21 गोल्ड, 16 सिल्वर और 20 ब्रॉन्ज पर कब्जा जमाया है। भारत ने 2006 में अपनी मेजबानी में चार स्वर्ण पदक जीतकर अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया था जिसमें देश के नाम आठ पदक रहे थे।