ओस्लो: 2022 में दुनिया में परिचालन में मौजूद परमाणु हथियारों की संख्या में वृद्धि हुई है। इसके पीछे रूस-यूक्रेन युद्ध को बड़ा कारण बताया जा रहा है। परमाणु हथियारों की संख्या में बढ़ोत्तरी रूस और चीन का सबसे बड़ा योगदान है। नॉर्वे की एनजीओ पीपल्स एड की रिपोर्ट न्यूक्लियर वेपन्स बैन मॉनिटर के अनुसार, नौ आधिकारिक और अनौपचारिक परमाणु शक्तियों के पास 2023 में 9576 रेडी-यू-यूज न्यूक्लियर वारहेड थे। साल भर पहले इनकी संख्या 9440 थी। रिपोर्ट में बताया गया है कि इन परमाणु बमों की शक्ति हिरोशिमा में गिरे बम की तुलना में 135000 गुना अधिक है। ऐसे में ये हथियार पूरी पृथ्वी को कई बार नष्ट करने के लिए पर्याप्त हैं।
दुनिया के नौ देशों के पास 12512 परमाणु हथियार
न्यूक्लियर वेपन्स बैन मॉनिटर की रिपोर्ट को फेडरेशन ऑफ अमेरिकन साइंटिस्ट्स के सहयोग से प्रकाशित किया गया है। इसमें बताया गया है कि दुनिया के नौ परमाणु शक्ति संपन्न देशों के पास कुल 12512 परमाणु हथियार हैं। इनमें से 2936 हथियारों को सेवा से हटाया जा चुका है और वे अपने विघटन की प्रतीक्षा में हैं। बाकी बचे 9576 परमाणु हथियार इस समय पूरी दुनिया में कभी भी हमले के लिए तैयार रखे हैं।
कई देशों ने बढ़ाए परमाणु भंडार
फेडरेशन ऑफ अमेरिकन साइंटिस्ट्स में न्यूक्लियर इंफॉर्मेशन प्रोजेक्ट के निदेशक और न्यूक्लियर वेपन्स बैन मॉनिटर के योगदानकर्ता हैंस एम. क्रिस्टेंसन ने कहा कि हर साल परमाणु हथियारों की वैश्विक सूची थोड़ी कम हो जाती है। 2022 में इनकी संख्या 12706 थी, जबकि जनवरी 2023 में 12512 तक पहुंचने का अनुमान जताया गया था। यह सच है कि अमेरिका और रूस हर साल रिटायर हो चुके अपने कुछ पुराने परमाणु वॉरहेड को नष्ट कर देते हैं। 2022 में रूस, चीन, भारत, उत्तर कोरिया और पाकिस्तान ने अपने परमाणु हथियारों की संख्या को बढ़ाया है।
2017 से लगातार बढ़ रहे हैं हथियार
न्यूक्लियर वेपन्स बैन मॉनिटर के संपादक नार्वेजियन पीपल्स एड के ग्रेटे ऑस्टर्न ने कहा कि दुनिया में परमाणु हथियारों की संख्या में बढ़ोत्तरी चिंताजनक है। यह प्रवृति 2017 में शुरू हुई थी, जो अब भी जारी है। हम जल्द ही शीत युद्ध के बाद पहली बार दुनिया में परमाणु हथियारों की कुल संख्या में वृद्धि देख रहे हैं। चीन, फ्रांस, भारत, इजरायल, उत्तर कोरिया, पाकिस्तान, रूस, यूनाइटेड किंगडम और अमेरिका परमाणु हथियारों के निषेध पर संधि में शामिल होने से इनकार करते हैं। इसमें परमाणु हथियारों के विकास, उत्पादन और भंडारण को प्रतिबंधित किया गया है।