जगदलपुर। भगवान श्रीराम का बस्तर के दंडकारण्य से गहरा नाता रहा है। आदिवासी बहुल इस इलाके में कई लोगों के नाम के साथ राम शब्द जुड़ा हुआ है। इस दौर में लोगों के नाम के साथ भले ही राम शब्द का जुड़ाव थोड़ा कम हुआ है, लेकिन दंडकारण्य में यह परंपरा अभी भी चली आ रही है। वहीं, पिछले 15 विधानसभा चुनावों में यहां से एक दिलचस्प वाक्या देखने को मिला है।
राम नाम वाले कई लोग बने हैं विधायक
बस्तर में 1952 से लेकर आज तक हुए 15 विधानसभा चुनावों में 34 ऐसे विधायक चुने गए, जिनके नाम के साथ राम शब्द जुड़ा है। वर्तमान में बस्तर की 12 सीटों पर चुनाव लड़ रहे 120 प्रत्याशियों में 20 ऐसे हैं, जिनके नाम में राम शब्द जुड़ा हैं। मालूम हो कि राम नाम रखने की परंपरा के कारण यहां मतदाताओं में भी कई राम नाम वाले मिल जाएंगे। हालांकि, आधिकारिक आंकड़ा उपलब्ध नहीं होने के बाद भी हमेशा इस बात का दावा किया जाता रहा है।
इन विधायकों ने पाई प्रसिद्धि
बस्तर में सर्वाधिक पांच-पांच बार विधायक चुने गए बलीराम, मानकूराम और चार बार के विधायक झितरूराम के नाम के साथ राम शब्द जुड़ा है। इनके अलावा रामेश्वर, सियोराम, सरादूराम, लच्छूराम, पीलूराम, डोराराम, रामभरोसा, गंगाराम, राम कोंडा, रतीराम, झाडूराम, महादेव आयतूराम, कोराम गोपाल, गाडरूराम, आत्मराम, भूरसूराम, अक्तूराम, हांदाराम, मंगलराम, धनीराम, बारसा दुलाराम, अंतूराम, नंदाराम, राजाराम, मनुराम, मंतूराम, बैदूराम, लच्छूराम, सुभाऊराम, सेवकराम, संतराम के नाम शामिल हैं। इनमें निर्दलीय और दलीय दोनों वर्ग से विधायक रहे हैं।
1972 के चुनाव में 11 में से पांच विधायक राम नाम वाले थे। इसी तरह 1962, 1977, 1993 में चार-चार विधायक ऐसे रहे हैं जिनके नाम के साथ राम शब्द जुड़ा है।