तापसी पन्नू बतौर प्रोड्यूसर अपने बैनर की पहली फिल्म ‘ब्लर’ ला रही हैं। इसमें वो डबल रोल में हैं। यह जी5 पर ओटीटी रिलीज है। फिल्म में तापसी के अपोजिट एक्टर गुलशन देवैया हैं। हाल ही में एक्टर्स ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत की, इस दौरान तापसी और गुलशन ने फिल्म से जुड़े एक्सपीरिएंस के बारे में बातचीत की। पेश हैं उनसे हुई बातचीत के प्रमुख पोर्शन-
पहले इस फिल्म में केवल एक्टर थी, बाद में सोचा बतौर प्रोड्यूसर जुड़ जाऊं- तापसी
जब
पिक्चर को हां कहा था तो उस वक्त सिर्फ बतौर एक्टर इससे जुड़ी थी। विशाल
राणा के साथ। साइन करने के 10 से 12 महीने बाद पिक्चर फ्लोर पर जाने वाली
थी। तो उस दौरान सोचने का मौका मिला कि क्यों न इस फिल्म के साथ भी अपने
प्रोड्यूसर बनने के सफर की शुरुआत की जाए। यह दरअसल ऐसी फिल्म थी, जिसे 10
साल बाद भी याद करूं तो खुद पर नाज होगा कि ये मेरी फिल्मोग्राफी का
हिस्सा है।
शाहरुख-सलमान की तरह मैं भी फीस नहीं बल्कि फिल्म शेयर लूंगी- तापसी
मेरे
ख्याल से स्टार्स के नाम पर पिक्चर बिकती तो है। उनके ब्रांड नेम पर
फिल्मों के बजट सैंक्शन होते हैं। जनता टिकट खरीदने जाती है। कई बार फैंस
का स्टार्स के प्रति प्यार इतना गहरा होता है कि चाहे कोई भी फिल्म हो,
दर्शक देखने जाते ही हैं। वैसी सिचुएशन में बड़े सितारों की हिस्सेदारी हाई
हो जानी चाहिए। ऐसा होता भी है। जहां तक मैंने सुना है शाहरुख, आमिर, सलमान
फीस नहीं लेते। वो प्रॉफिट शेयर ही लेते हैं। आगे चलकर कोई प्रोड्युसर
मुझे भी वह ऑपरच्यूनिटी दे तो मैं भी वह करूंगी।
फिल्म में एक्टिंग और प्रोडक्शन का दोनों का काम करना मुश्किल टास्क होता है- तापसी
अच्छी
फीलिंग तो नहीं होती है। बेशक सेट पर बतौर एक्टर ही रहती थी। मेरे
प्रोड्युसर पार्टनर प्रांजल भी सेट पर होते थे। फिर भी यह मेरा पहला
प्रोडक्शन था तो सेट पर कोई गड़बड़ लगती तो टेंशन बढ़ जाती थी। तो इस
फिल्म के बाद मैंने तय किया कि मैं जो ज्यादातर पिक्चरें प्रोड्यूस करूं
तो उसमें एक्टिंग न करूं। मेरे बैनर की अगली फिल्म वैसी है भी। मैंने अपने
लिए बेहतर ऑपरच्यूनिटी बनाने के लिए प्रोडक्शन में कदम नहीं रखा है। इसका
फायदा भी हुआ। टीम को कह सकी कि मेरे अपोजिट गुलशन देवैया जैसे अच्छे एक्टर
हों ताकि अपनी परफॉरमेंस बेहतर हो सके।
ये ऐसा इंटेंस किरदार था जिसे मैं करना चाहता था- गुलशन
बतौर
एक्टर तापसी का करियर कमाल का रहा है। वो खुद गॉडफादर, गॉडमदर हैं।
हालांकि वो जमाना गया। हम(आउटसाइडर्स) उन चीजों से आगे बढ़ चुके हैं। बाकी
ये ऐसा इंटेंस किरदार था, जिस पर सदा नाज रहेगा, जब फिल्मों से रिटायर हो
जाऊंगा।
मेरी बायोपिक बहुत बोरिंग होगी- तापसी
मैं नहीं चाहती
कि मुझ पर बायोपिक बने, कतई नहीं। बड़ी बोरिंग होगी वो। इतने पर गुलशन ने
कहा- ‘ तो मैं यकीनन वह करना चाहूंगा। मैं तो काई अपफ्रंट फीस वगैरह नहीं
लूंगा। मैं बस प्रॉफिट शेयरिंग पर फिल्म कर लूंगा।’ आगे तापसी कहती है-
‘बिल्कुल मत करना गुलशन, क्योंकि वह बड़ी बोरिंग होगी। मैं बिल्कुल
दिलचस्प किरदार नहीं हूं। अगर बनी तो वो होम प्रोडक्शन न रह जाए और बस होम
स्क्रीन पर हम तुम ही देखेंगे।’
कोई चीज चल गई है तो ऐसा नहीं है कि उसकी रेड़ ही पीट दो आप- तापसी
पिंक
जैसी फिल्मों की फ्रेंचाइजी तो क्या मैं बिल्कुल नहीं करना चाहूंगी। जब
‘पिंक’दूसरी लैंग्वेज में रीमक हुई तो मैं बेहद खुश थी कि मुझसे पूछा भी
नहीं गया कि मैं उनमें भी होना चाहूंगी। वह इसलिए कि वैसी फिल्में आप एक
बार कर लो तो दिमाग हिल जाता है। हर सक्सेसफुल चीज को ओवर मिल्क नहीं कर
सकते। कोई चीज चल गई है तो ऐसा नहीं है कि उसकी रेड़ ही पीट दो आप। हा
लेकिन अब ‘बदला जैसी फिल्म का अगला पार्ट हो सकता है, क्योंकि उसकी एंडिंग
ऐसी थी कि कुछ ट्विस्ट आ जाए। थ्रिलर फिल्म है वह।